
अजिता , अध्याय 1| Chapter 1: अनमोल रिश्ता
कैसे कर सकी वह इस तरह जो पचास साल पहले उन्नीस साल की एक अल्हर और अनुभवहीन बहू के रुप में एक अनजान परिवार में आई थी।
कैसे कर सकी वह इस तरह जो पचास साल पहले उन्नीस साल की एक अल्हर और अनुभवहीन बहू के रुप में एक अनजान परिवार में आई थी।
Ajita Chapter 17 : नया मकान / New House अभिनव जो अपने पिता के बगल में बैठा हुआ था उसने विजय से पूछा, “दूसरा मकान?
Ajita Chapter-16 बिन बुलाये मेहमान / unwelcome guests होली खत्म हो गई थी और परीक्षा शुरू होने को सिर्फ कुछ ही दिन बाकी थे। दुर्भाग्यवश
Ajita Chapter 15: सकारात्मक दृष्टिकोण / positive outlook “तो इसका मतलब आप इसलिए शादी के लिए तैयार हुई क्योंकि आपको आगे पढ़ाई करने का आश्वासन
Ajita Chapter 14: अभिनव का पालन पोषण उसके आने के बाद अजिता का पूरा ध्यान अभिनव में लग गया क्योंकि जब अभिनव का जन्म हुआ
Ajita Chapter 13: अभिनव के ‘मेरे चाचा’ “नहीं नहीं, उसे सो लेने दीजिए, अब तो मैं रहूँगा ही तीन दिन उसके साथ,” अजय ने दूसरा
Ajita Chapter 12: होली की तैयारी कुछ दिनों में होली आने वाली थी। होली की तैयारी हो रही थी। अजिता काफी दिन पहले से उसकी
Ajita Chapter 11: अपना प्यारा घर अभिनव के सोने के बाद अजिता उठी और सारे कपड़े अलमारी में सेट किये फिर शाम की पार्टी में
Ajita Chapter 10 : बर्थडे पार्टी अगले दिन अजिता जब सोकर सुबह उठी तो उसे तेज़ सर दर्द हो रहा था। उसे फिर से वही
Ajita Chapter 9: ज्योति की सूझबूझ “कोई उठाकर तो नहीं ले गया।” अजिता का दिल ज़ोर ज़ोर से धड़कने लगा। वह न्यूज़ पेपर में अक्सर
chapter 8 अजिता की उलझन दोपहर के खाने में वह अभिनव की मनपसंद मटर पनीर की सब्जी और हलवा बनाने किचन में चली गई। एक
Ajita Chapter 7 – अभिनव का बहाना बाथरूम से बाहर निकलकर उसने स्कूल ड्रेस पहनी और अपना टिफिन बैग में रख लिया। “बचा लिया टिफिन
अध्याय-6 अभिनव का ड्रामा अपनी बंदूक की सारी गोलियाँ डाकू के सीने में दागकर अभिनव ने अपनी मुछों पर ताव दिया और बंदूक अपने कंधे
Ajita Chapter 5 : ससूराल की मुसीबत सासू माँ को दो दिन बाद गाँव से आना था, तो उसे विश्वास हो गया था कि उसके
Ajita chapter 4: अजिता की मज़बूरी अम्मा का गुस्सा देखकर अजय चुप हो गया और उसने उसी दिन वापस शहर लौटने का मन बना लिया।
गाँव का जीवन “अम्मा, बहू तो आपकी रुप रंग से बहुत सुंदर है। बातचीत भी अच्छी कर लेती है लेकिन अगर कामकाज़ नहीं जानती तो
समझौता बारहवीं की परीक्षा खत्म होते ही अजिता के पिताजी उसकी शादी ढूँढने लगे। अजिता ने पहले बहुत मना किया। वह एक अच्छी छा़त्रा थी